भारतीय मूल के ऋषि सुनक बने ब्रिटेन के प्रधानमंत्री, भारत एवं भारतीयों को किया गौरवान्वित l
रिपोर्ट-राजेश मिश्र।
150 साल तक भारत पर शासन करने वाले और भारत को गुलाम बनाने वाले अंग्रेजों के देश ब्रिटेन में भारी समर्थन के साथ भारतीय मूल के ऋषि सुनक ने प्रधानमंत्री पद की मजबूत दावेदारी के साथ सभी भारतीयों को गौरवान्वित किया l ऋषि सनक भारतीय मूल के हैं और ब्रिटेन के पहले हिंदू प्रधान मंत्री बने। एक हिंदू ब्राम्हण परिवार से संबंध रखने वाले और गर्व से हिंदू संस्कृति और परंपरा का पालन करने वाले, ऋषि सनक सभी भारतीयों और हिंदू भाइयों को एक अनोखा दिवाली उपहार देते हुए प्रधान मंत्री बने हैं। आइए जानते हैं भारतीय मूल के ऋषि सनक ब्रिटेन के पहले हिंदू प्रधानमंत्री जुड़े कुछ ऐसे तथ्य जिसे जानकर हर भारतीय गर्व करें l
ऋषि सनक पूर्वज मूल रूप से पंजाब, भारत के निवासी है l
ऋषि सनक ने रचा विश्व इतिहास। ऋषि सनक ने ब्रिटेन जैसे शक्तिशाली देश के प्रधान मंत्री के रूप में एक भारतीय होने का सम्मान अर्जित किया है। ऋषि सनक के दादा पंजाब के रहने वाले हैं और उनका नाम दादा रामदास है। जोकि गुंजरावाल गांव के निवासी थे। बंटवारे के बाद यह गांव पाकिस्तान चला गया। दादा रामदास ने 1935 में अपना गांव छोड़ दिया और भारत से अफ्रीका के नैरोबी में एक क्लर्क के रूप में चले गए। नैरोबी केन्या की राजधानी है। ऋषि सनक के आत्मकथाकार माइकल एशक्रॉफ्ट ने लिखा है कि उन्होंने भारत में हिंदुओं और मुसलमानों के बीच बढ़ते तनाव और बिगड़ते संबंधों के कारण देश छोड़ने का फैसला किया। रामदास एक एकाउंटेंट थे और केन्या में एक प्रशासनिक अधिकारी बन गए। रामदास और उनकी पत्नी सुहागरानी के कुल छह बच्चे थे, तीन बेटे और तीन बेटियां। ऋषि सनक के पिता यशवीर का जन्म 1949 में केन्या में हुआ था। 1966 में, यशवीर इंग्लैंड के लिवरपूल आए और यहां विश्वविद्यालय से मेडिकल की डिग्री पूरी की। वह वर्तमान में साउथ हैम्पटन में रहते हैं । (ऋषि सुनक यूके पीएम)
सुनक की स्कूली शिक्षा
ऋषि सुनक ने अपनी स्कूली शिक्षा ब्रिटेन के विनचेस्टर कॉलेज से की। यह ब्रिटेन के सबसे प्रतिष्ठित स्कूलों में से एक है। इसके बाद वे अमेरिका के ऑक्सफोर्ड और स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी पहुंचे और यहां से अपनी आगे की शिक्षा पूरी की। राजनीति में आने से पहले उन्होंने गोल्डमैन सैक्स और कुछ अन्य कंपनियों में काम किया।
सुनक को हिंदू होने पर गर्व है
ऋषि सनक अत्यंत धार्मिक स्वभाव के सज्जन व्यक्ति हैं। स्वयं एक हिंदू होने के नाते, वह हिंदू परंपराओं और मान्यताओं का पालन करने पर जोर देते हैं। जब वे सांसद बने तो उन्होंने भगवद गीता की शपथ ली। ऋषि सनक हमेशा सार्वजनिक रूप से कहते हैं कि मैं ब्रिटेन का नागरिक हूं और मुझे हिंदू होने पर गर्व है।
इंफोसिस के नारायण मूर्ति के दामाद
ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बने ऋषि सुनक भारतीय मूल के होने के साथ-साथ भारत के दामाद भी हैं। वह इंफोसिस के संस्थापक और प्रसिद्ध उद्योगपति नारायण मूर्ति के दामाद हैं। नारायण मूर्ति की बेटी अक्षता मूर्ति एक फैशन डिजाइनर हैं। ऋषि सुनक और अक्षता की मुलाकात कैलिफोर्निया के स्टैनफोर्ड यूनिवर्सिटी से एमबीए करते समय हुई थी। यह मुलाकात बाद में प्यार और फिर शादी में बदल गई। उन्होंने अगस्त 2009 में शादी कर ली।
सुनक ने की थी गोमांस छोड़ने की अपील
2020 में ऋषि सनक ने वित्त मंत्री के रूप में शपथ ली। इसी बीच उन्होंने भगवद्गीता पर हाथ रखकर शपथ ली और यह हर भारतीय की पसंदीदा बन गई। जब एक ब्रिटिश अखबार ने उनसे इस बारे में पूछा तो उन्होंने अपने ही अंदाज में जवाब दिया।
ऋषि ने कहा, ‘मैं अभी एक ब्रिटिश नागरिक हूं लेकिन मेरा धर्म हिंदू है। भारत मेरी धार्मिक और सांस्कृतिक विरासत है। मैं गर्व से कह सकता हूं कि मैं हिंदू हूं और हिंदू होना ही मेरी पहचान है। अपनी मेज पर गणेश की मूर्ति रखने वाले सनक ने भी धार्मिक कारणों से गोमांस छोड़ने की अपील की है। साथ ही वे खुद बीफ का सेवन नहीं करते हैं।
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