- Advertisement -

सुलतानपुर न्यूज़ :-जीआईसी में पूर्व छात्रों का ‘जमघट’, जुटीं कई पीढियां

18

- Advertisement -

जीआईसी में पूर्व छात्रों का
‘जमघट’, जुटीं कई पीढियां

  • १६६ वर्ष पुराने जीआईसी में एल्युमनाई मीट, उमड़ा भावनाओं का ज्वार
  • संस्थान के लिए योगदान और गुप्तदान का चला सिलसिला

- Advertisement -

Sultanpur News, Sultanpur News Today, Sultanpur News Live , Sultanpur Latest News Today , Sultanpur News In Updated Hindi ,

सुल्तानपुर। ब्रिटिश हुकूमत में सन सत्तावन की पहली क्रांति के बाद स्थापित सुल्तानपुर शहर के करीब 166 वर्ष पुराने जीआईसी में शनिवार को एलुमनाई मीट आयोजित की गई। जिसमें छात्रों की कई पीढियां इकट्ठा हुईं। भावना का ज्वार उमड़ पड़ा। ‘परदेशी’ हो चुके तमाम पूर्व छात्र इस पुरातन छात्र सम्मेलन से ‘ज़ूम’ के जरिये कनेक्ट हुए। अपने संस्थान के लिए किसी ने ‘गुप्तदान’ कर आर्थिक सहयोग किया तमाम ने निरन्तर योगदान का संकल्प लिया।

सुल्तानपुर के राजकीय इंटर कालेज में शनिवार को दीपोत्सव जैसा ही माहौल नजर आया। 166 वर्षो के इतिहास में पहली बार बड़े पैमाने पर आयोजित एल्युमनाई मीट के बहाने (देश-परदेश को रोशन कर रहे) सैकड़ों दीपकों का जमघट लगा। प्रिंसिपल मनोज तिवारी की पहल पर हुए इस महत्वपूर्ण आयोजन का श्रीगणेश किया एसपी सोमेन बर्मा ने दीप जलाकर। परिसर में सुबह दस बजे से ही बाहरी जिलों में विविध कार्यक्षेत्रों में स्थापित हो चुके स्थानीय पूर्व छात्रों के आने का क्रम प्रारंभ हो गया, जो निरन्तर चलता रहा।
मंच पर विराजमान थे पूर्व प्राचार्य गण वयोवृद्ध डॉ सिब्ते हसन, सीके सिंह, एसबी यादव व अनिल कुमार सिंह आदि। जिन्हें देखकर सामने मौजूद छात्रों की कई पीढ़ियों भावविह्वल हुई जा रही थीं। ‘गूगल ज़ूम’ के जरिये एलईडी स्क्रीन पर कनेक्ट हो रहे परदेशी छात्रों की भी बड़ी जमात कतार में लगी रही इस आयोजन को लेकर अपना मैसेज देने के लिये। ‘यादों के झरोखों से’ कार्यक्रम में विद्यालय से जुड़ी स्मृतियां बांटने का वक़्त आया तो सिलसिला ऐसा चल निकला कि थमा ही नहीं। हरेक व्यक्ति के पास जीआईसी की अनूठी यादों की अपनी अपनी पोटलियां खुलना शुरू हुईं तो खुलती ही चली गईं। वरिष्ठ पत्रकार राजखन्ना, ख्यातिलब्ध एडवोकेट सुधांशु , सामाजिक कार्यकर्ता रज्जन सेठ, जीएसटी कमिश्नर सुशील सिंह, आईएएस कुमार विनीत, हाईकोर्ट अधिवक्ता वीके सिंह, पूर्व छात्रों में सबसे वरिष्ठ 1953 बैच के रामशब्द पाण्डेय, आनन्द कुमार,वैज्ञानिक डॉ प्रभाकर पाण्डेय, डॉ राजेश पाण्डेय के जी एम सी, ए डी जे निरंजन चौरसिया, उप जिलाधिकारी विपिन द्विवेदी , गिरीश द्विवेदी, जी एस टी कमिश्नर सुशील सिंह, एन एच आई आन्ध्र प्रदेश के मैनेजिंग डायरेक्टर आर के सिंह, मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ सलिल श्रीवास्तव, डॉ सुधाकर सिंह व डॉ डीएस मिश्र जैसे अनेक बड़े नाम , जिन्होंने इसी परिसर में पढ़ना लिखना सीखा और अब अपनी पहचान कायम कर चुके हैं,मौजूद थे। पूर्व प्राचार्य सीके सिंह ने तो सन 1960 में यहीं छात्र भी रहे और फिर अध्यापक व प्राचार्य भी यहीं बने। उनके पुत्र शहर के जाने माने डेंटल चिकित्सक डॉ मनोज सिंह भी यहीं पढ़े लिखे और आगे बढ़े।
दिन भर चलता रहा आयोजन और फिर सम्मान व सहभोज के मध्य विभिन्न सत्रों के पासआउट विद्यार्थियों ने विद्यालय के लिए योगदान का संकल्प लिया। तमाम ऐसे भी ‘परदेशी’ हो चुके पूर्व छात्रों ने अपने संस्थान की उन्नति की खातिर ‘गुप्तदान’ भी कर डाला। जबतक कार्यक्रम चलता रहा भावनाएं बहती रहीं।

सुलतानपुर न्यूज़ :- श्रीमद्भागवत कथा का शुक्लहिया गांव में आज से भब्य शुभारंभ।

Comments are closed.